Home » “सिनेमा सांस्कृतिक कूटनीति का एक माध्यम” : आरुषि निशंक

“सिनेमा सांस्कृतिक कूटनीति का एक माध्यम” : आरुषि निशंक

Aarushi Nishank

Loading

अभिनेत्री, फिल्म निर्माता और सामाजिक कार्यकर्ता आरुषि निशंक ने मुंबई में आयोजित “वेव समिट” में हिस्सा लेते हुए कहा कि सिनेमा ‘भारत’ और ‘इंडिया’ के बीच एक सेतु बन सकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा उद्घाटित इस कार्यक्रम में आरुषि ने पैनलिस्ट के रूप में भाग लिया और कहा कि सिनेमा केवल मनोरंजन नहीं, बल्कि सांस्कृतिक कूटनीति और राष्ट्रीय एकता का भी प्रभावी माध्यम है।

उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि जड़ों से जुड़ी कहानियाँ न केवल भावनात्मक स्तर पर जुड़ाव बनाती हैं, बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्थाओं को भी सशक्त करती हैं। अपने प्रोडक्शन हाउस हिमश्री फिल्म्स और डिज़्नी+ हॉटस्टार पर रिलीज़ हुई सीरीज़ ‘लाइफ हिल गई’ का उल्लेख करते हुए उन्होंने बताया कि उत्तराखंड में शूटिंग करने से न केवल खूबसूरत दृश्य कैद हुए, बल्कि स्थानीय रोज़गार और पहचान को भी बल मिला।

आरुषि ने प्रधानमंत्री मोदी की युवा शक्ति और सांस्कृतिक सॉफ्ट पावर पर कही बातों का समर्थन करते हुए कहा कि भारत की पहचान उसकी विविधतापूर्ण कहानियों में निहित है। उन्होंने बताया कि उनकी आगामी परियोजनाएं ज़ी स्टूडियोज़, जिओ और अमेज़न जैसे प्रमुख प्रोडक्शन हाउसेज़ के साथ उत्तराखंड की संस्कृति को वैश्विक मंच पर लाने की दिशा में होंगी।

उत्तराखंड को एक उभरते फिल्म शूटिंग हब के रूप में स्थापित करने में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की नीतियों की उन्होंने सराहना की और कहा कि क्षेत्रीय सिनेमा के लिए मज़बूत बुनियादी ढाँचा बेहद ज़रूरी है।

वेव समिट में आरुषि की भागीदारी ने सिनेमा को एक सशक्त सामाजिक और सांस्कृतिक उपकरण के रूप में फिर से परिभाषित किया है, जो नई पीढ़ी के फिल्म निर्माताओं को अपनी जड़ों से जुड़ने और दुनिया तक अपनी कहानियाँ पहुँचाने के लिए प्रेरित करता है।

Reported By: Rajesh Kumar

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!